Hari Hari Hari Hari Sumiran Karo
नाम स्मरण हरि हरि हरि हरि सुमिरन करौ, हरि-चरनार-विंद उर धरौ हरि की कथा होइ जब जहाँ, गंगा हूँ चलि आवै तहाँ जमुना सिन्धु सरस्वति आवैं, गोदावरी विलम्ब न लावैं सर्व-तीर्थ को वासा तहाँ, ‘सूर’ हरि-कथा होवै जहाँ
Jivan Ke Din Char Re Man Karo Punya Ke Kam
नाशवान संसार जीवन के दिन चार रे, मन करो पुण्य के काम पानी का सा बुदबुदा, जो धरा आदमी नाम कौल किया था, भजन करूँगा, आन बसाया धाम हाथी छूटा ठाम से रे, लश्कर करी पुकार दसों द्वार तो बन्द है, निकल गया असवार जैसा पानी ओस का, वैसा बस संसार झिलमिल झिलमिल हो रहा, […]
Antar Mam Vikasit Karo
निवेदन (बंगला) अन्तर मम विकसित करो अन्तरतर हे निर्मल करो, उज्ज्वल करो, सुन्दर करो हे! जाग्रत करो, उद्यत करो, निर्भय करो हे! मंगल करो, निरलस, निःसंशय करो हे! युक्त करो हे सवार संगे, मुक्त करो हे बंध! संचार करो सकल कर्मे, शान्त तोमार छंद! चरण-पद्मे मम चित्त, निष्पंदित करो! मम चित्त, निष्पंदित करो! नंदित करो, […]
Ichchaaon Ka Parityag Karo
प्रबोधन इच्छाओं का परित्याग करो कर्त्तव्य करो, निष्काम रहो एवम् सेवा का कार्य करो जो कुछ भी प्रभु से मिला हमें,वह करें समर्पित उनको ही संकल्प जो कि हम करें जभी संयमित जपें प्रभु को ही मन को मत खाली रहने दो, वरना प्रपंच घुस जायेगा इसलिये सदा शुभ कर्म करो, दुर्भाव न मन में […]
Karo Ab Jaane Ki Taiyari
चेतावनी करो अब जाने की तैयारी साधु संत सम्राट भी जायें, जाते सब संसारी देह तुम्हारी लगी काँपने, अंत काल की बारी ईर्ष्या द्वेष अहं नहीं छूटे, उम्र बिता दी सारी मोह जाल में फँसा रहे मन, वह है व्यक्ति अनारी काम न आये कोई अन्ततः, फिर भी दुनियादारी खाते, चलते सभी समय बस, जपलो […]
Sabse Prem Karo Man Pyare
शरणागति सबसे प्रेम करो मन प्यारे, कोई जाति या वंश द्वेष शत्रुता हो न किसी से, सब ही प्रभु के अंश प्राणों में प्रभु शक्ति न ऐसी,करूँ तुम्हारा ध्यान जड़ता भर दो इस जीवन में, बचे ने कुछ भी ज्ञान मुझसे बड़ा न पापी कोई, मैंने पाप छिपाये प्रायश्चित कर पाऊँ कैसे, समझ नहीं कुछ […]
Nar Ho Na Nirash Karo Man Ko
कर्म निष्ठा नर हो न निराश, करो मन को, बस कर्म करो पुरुषार्थ करो आ जाय समस्या जीवन में, उद्देश्य हमारा जहाँ सही साहस करके बढ़ते जाओ, दुष्कर कोई भी कार्य नहीं संघर्ष भरा यहा जीवन है, आशा को छोड़ो नहीं कभी मन में नारायण नाम जपो, होओगे निश्चित सफल तभी जब घिर जाये हम […]
Purushartha Karo Baithe Na Raho
पुरुषार्थ पुरुषार्थ करो, बैठे न रहो जो सोच-विचार करे उद्यम, ईश्वर का नाम हृदय आये भाग्योदय हो ऐसे जन का, सार्थक जीवन तब हो जाये उत्साहित हो जो कार्य करे, जीविकोपार्जन कर पाये ऐसे ही ठाला बैठ रहे, वह तो आखिर में पछताये वरदान प्रभु का मनुज देह, जो सदुपयोग नहीं कर पाये वह रहे […]
Prabhu Shakti Pradan Karo Aisi
शरणागति प्रभु शक्ति प्रदान करो ऐसी, मन का विकार सब मिट जाये चाहे निंदा हो या तिरस्कार, मुझको कुछ नहीं सता पाये भोजन की चिन्ता नहीं मुझे, जब पक्षी जी भर खाते ही मुझको मानव का जन्म दिया, तो खाने को भी देंगे ही बतलाते हैं कुछ लोग मुझे, अन्यत्र कहीं सुख का मेला देखा […]
Bhawani Dur Karo Dukh Maa
निवेदन भवानी, दूर करो दु:ख माँ तेरो बालक करे पुकार, भवानी! दूर करो दुख माँ मैं तो हूँ अति कपटी पापी, औगुण को घर माँ राग-द्वेष में डूब रह्यो नित, शुभ लक्षण नहीं माँ पूजा-पाठ कछू नहीं जाणूँ, भक्ति न जाणू माँ साधु-संगत कबहुँ न किन्ही, तीरथ व्रत नहीं माँ बालपणो तरुणाई बीती, तन-जर्जर अब […]