Abki Tek Hamari, Laj Rakho Girdhari
शरणागति अबकी हमारी, लाज राखो गिरिधारी जैसी लाज राखी अर्जुन की, भारत-युद्ध मँझारी सारथि होके रथ को हाँक्यो, चक्र सुदर्शन धारी भक्त की टेक न टारी जैसी लाज राखी द्रोपदी की, होन न दीनि उघारी खेंचत खेंचत दोउ भुज थाके, दुःशासन पचि हारी चीर बढ़ायो मुरारी सूरदास की लज्जा राखो, अब को है रखवारी राधे […]
Hamari Radha Ati Sukumari
श्री राधा हमारी राधा अति सुकुमारी विहरत है वृषभानु महल में, चहुँ दिशि करत उजारी लोचन युगल खिले पंकज दोउ, मातु बजावति तारी आवति दौरि अङक में उछरैं, हँसनि देत किलकारी गोरो अंग श्याम हिय धारति, श्यामा श्याम बिहारी दुग्ध धवलिया तनु छाया सम, होंहि न पियते न्यारी
Hari Ju Hamari Aur Niharo
शरणागति हरिजू! हमरी ओर निहारो भटकि रहे भव-जलनिधि माँही, पकरो हाथ हमारो मत्सर, मोह, क्रोध, लोभहु, मद, काम ग्राह ग्रसि डारो डूबन चाहत नहीं अवलम्बन, केवट कृष्ण निकारो बन पाषान परे इत उत हम, चरननि ठोकर मारो केवल किरपा प्रभु ही सहारो, नाथ न निज प्रन टारो
Prabhu Rakho Laj Hamari
शरणागति प्रभु! राखो लाज हमारी अमृत बना पिया विष मीरा, चरण-कमल बलिहारी जिन भक्तों ने लिया सहारा, उनकी की रखवारी खोया समय भोग में मैंने, तुमको दिया बिसारी पापी कौन बड़ा मेरे से, तुम हो कलिमल हारी प्रीति-पात्र मैं बनूँ तुम्हारा, संबल दो बनवारी अविनय क्षमा करो नँदनंदन, आया शरण तुम्हारी जो चाहे सो रूप […]
Lal Gulal Gupal Hamari
होली लाल गुलाल गुपाल हमारी, आँखिन में जिन डारोजू वदन चंद्रमा नैन चकोरी, इन अन्तर जिन पारोजू गाओ राग बसंत परस्पर, अटपट खेल निवारोजू कुंकुम रंग सों भरि पिचकारी, तकि नैनन जिन मारोजू बाँकी चितवन नेह हृदय भरि, प्रेम की दृष्टि निहारोजू नागरि-नागर भवसागर ते, ‘कृष्णदास’ को तारोजू